Page 12 - Konkan Garima 17th Ebook
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अक - 17 माच , 2021
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योजनमलक िहदी ं - सय शेखर,
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अनदश े क मडगांव
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क कण रल े वे भारत क े पि मी तट से पहाड़ और निदय से iii. क े ीय सरकार क े वािम व म या िनय ं ण क े अधीन
गजरती है। इस बीहड़ भ-भाग म कई सरग ं और पल का िनमा ण िकसी िनगम या क पनी का कोई काया लय;
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काय करक े रल े वे लाइन तैयार करने क े िलए क कण रल े वे एक ग 'कम चारी' से क े ीय सरकार क े काया लय म िनयोिजत
इंजीिनयरी चम कार क े प म जानी जाती है। क कण रल े वे कोई यि अिभ ेत है;
अपनी िनमा ण प रयोजनाओ ं क े साथ-साथ गािड़य का घ 'अिधसिचत काया लय' से िनयम 10 क े उपिनयम (4) क े
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प रचालन भी कर रही है। रल े वे प रचालन क े दौरान िविभ न अधीन अिधसिचत काया लय, अिभ ेत है;
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कार क े िश ण भी िदए जाते ह । अपने प रचालन, सर ं ा ङ 'िह दी म वीणता' से िनयम 9 म विण त वीणता
सब ं ध ं ी िश ण क े साथ क कण रल े वे राजभाषा का भी अिभ ेत है ;
िश ण दत े ी है । च . ' े क' से िबहार, ह रयाणा, िहमाचल दश े , म य
राजभाषा िश ण यादा तर सव ं ादा मक तरीक े से िदया दश े , छ ीसगढ़, झारखंड़, उ राखंड राज थान और
जाता है । ऐसा ही एक या यान यहां तत हैः- उ र दश े रा य तथा अड ं मान और िनकोबार ीप
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िव ाथ - स भात महोदय । समह, िद ली सघ ं रा य े अिभ ेत है;
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या याता - स भात। आज क े या यान का िवषय है छ . ' े ख' से गजरात, महारा और पज ं ाब रा य तथा
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योजनमलक िह दी । चड ं ीगढ़, दमण और दीव तथा दादरा और नगर हवेली
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िव ाथ - जी महोदय । सघ ं रा य े अिभ ेत ह ;
या याता- या आप राजभाषा िनयम, 1976 क े बार े म ज . ' े ग' से खंड (च) और (छ) म िनिद रा य और सघ ं
जानकारी द ेसकते ह ? रा य े से िभ न रा य तथा सघ ं रा य े अिभ ेत
िव ाथ - महोदय कपया आप ही बताए ं। है;
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या याता- ठीक है । झ िह दी का काय साधक ान' से िनयम 10 म विण त
राजभाषा िनयम, 1976 काय साधक ान अिभ ेत है ।
1. सि ं नाम, िव तार और ार भ-- 3. रा य आिद और क े ीय सरकार क े काया लय से
क. इन िनयम का सि ं नाम राजभाषा (सघ ं क े िभ न काया लय क े साथ प ािद-
शासक य योजन क े िलए योग) िनयम, 1976 है। 1. क े ीय सरकार क े काया लय से े 'क' म िकसी रा य
ख. इनका िव तार, तिमलनाड रा य क े िसवाय स पण ू या सघ ं रा य े को या ऐसे रा य या सघ ं रा य े म िकसी
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भारत पर है । काया लय (जो क े ीय सरकार का काया लय न हो) या यि
ग. ये राजप म काशन क तारीख को व ह गे। को प ािद असाधारण दशाओ ंको छोड़कर िह दी म ह गे और
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2. प रभाषाए- ं - इन िनयम म , जब तक िक सद ं भ से यिद उनम से िकसी को कोई प ािद अ ं ेजी म भेजे जाते ह तो
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अ यथा अपेि त न होः- उनक े साथ उनका िह दी अनवाद भी भेजा जाएगा।
क. 'अिधिनयम' से राजभाषा अिधिनयम, 1963 (1963 का 2. क े ीय सरकार क े काया लय से--
19) अिभ ेत है; क . े 'ख' म िकसी रा य या सघ ं रा य े को या ऐसे
ख. 'क े ीय सरकार क े काया लय' क े अ तग त रा य या सघ ं रा य े म िकसी काया लय (जो क े ीय
िन निलिखत भी है, अथा तः- सरकार का काया लय न हो) को प ािद सामा यतया िह दी म
i. क े ीय सरकार का कोई मं ालय, िवभाग या काया लय; ह गे और यिद इनम से िकसी को कोई प ािद अ ं ेजी म भेजे
ii. क े ीय सरकार ारा िनय िकसी आयोग, सिमित या जाते ह तो उनक े साथ उनका िह दी अनवाद भी भेजा जाएगाः
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अिधकरण का कोई काया लय; और पर त यिद कोई ऐसा रा य या सघ ं रा य े यह चाहता है िक
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