कोंकण रेलवे – एक महत्वपूर्ण रूपांतर की ओर

Transforming Konkan Railways Into A Fast and Efficient Railway

कोंकण रेलवे का संरेखण भौगोलिक दृष्टि से चुनौतिपूर्ण भू-भाग के पश्चिमी घाटों से होकर गुजरता है। वर्ष 1998 से कोंकण रेलवे रोहा-मंगलुरू के बीच 740 किलोमीटर के रेल मार्ग पर  गाड़ीयो का  परिचालन कर रही है। कोंकण रेलवे ने पिछले 26 वर्षों के दौरान कई  महत्वपूर्ण प्रगति की है ।

माननीय रेल मंत्री, श्री सुरेश प्रभु जी ने कॉर्पोरेशन के सम्मुख आने वाली चुनौतियां और इन्हें बेहतर तरीके से किस प्रकार हल किया जा सकता है इसे समझा तथा उन्होंने इन मुद्दों को हल करने के लिए कई ठोस कदम उठाए ।
 
माननीय रेल मंत्री जी के कुशल मार्गदर्शन में, कोंकण रेलवे ने अपने यात्रियो को अधिक से अधिक यात्री सुख-सुविधाएं उपलब्ध कराने के साथ साथ कोंकण क्षेत्र के उत्थान के लिए भी विभिन्न पहल की है। माननीय रेल मंत्री महोदय द्वारा प्रारंभ किए गए कार्यो में, कोंकण रेलवे की लाइन क्षमता में वृद्धि करने, मार्ग का विद्युतीकरण, अतिरिक्त ग्यारह नए स्टेशनों का निर्माण आदि कार्य शामिल है।


कोंकण क्षेत्र के विकास को बढ़ावा देने तथा कोंकण के लोगों की अपेक्षाओ को पूर्ति  के लिए, माननीय रेल मंत्री जी ने कोंकण रेलवे को अधिक वित्तीय सहायता प्रदान करने के लिए अधिकृत इक्विटी शेयर पूंजी में वृद्धि कराने का निर्णय लिया है।


अधिकृत इक्विटी शेयर पूंजी में वृद्धि :
रेल मंत्रालय (एम.ओ.आर.) ने 16.12.2016 को अधिकृत इक्विटी शेयर पूंजी रुपए 806.47 करोड़ से बढ़ाकर रुपए 4,000 करोड़ तक वृद्धि के लिए मंजूरी दे दी है। इसके बाद कॉर्पोरेशन के शेयरधारकों ने 28.02.2017 को आयोजित अपनी बैठक में विभिन्न पूंजीगत व्यय परियोजनाएं कार्यान्वित कराने हेतु सर्वसम्मति से अधिकृत इक्विटी शेयर पूंजी रुपए 806.47 करोड़ से बढ़ाकर रुपए 4,000 करोड़ तक वृद्धि के लिए विशेष प्रस्ताव पारित किया जिसमे निम्नानुसार पूंजीगत व्यय परियोजनाएं शामिल है ।
1) रोहा-वीर भाग का दोहरीकरण
2) कोंकण रेलवे मार्ग का विद्युतीकरण
3) कोंकण रेलवे की यातायात क्षमता दुगनी करना
4) चिपलून - कराड रेल कनेक्टिविटी लिंक और
5) अतिरिक्त लूप लाइनों और नए क्रॉसिंग स्टेशनों का निर्माण कार्य


इन परियोजनाओं को कार्यान्वित करने की कुल लागत लगभग 10,000 करोड़ रुपए है और इन परियोजनाओं को चरणबद्ध तरीके से लगभग 5 वर्षों में पूर्ण करने की संभावना है। कई हॉल्ट स्टेशनों को एक क्रॉसिंग स्टेशन मे तथा पैच दोहरीकरण करने से, परिचालन और थ्रूपुट में सुधार होगा जिससे कोंकण क्षेत्र के आसपास के लोग जो असुविधा और कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं उनकी कोंकण रेलवे पर यात्रा आरामदायक बनेगी।


यह योजना  न केवल यात्रा करने वाले यात्रियों को लाभान्वित करेगी बल्कि संपूर्ण कोंकण क्षेत्र के सामाजिक-आर्थिक विकास के लिए काफी योगदान भी प्रदान करेगी, जिससे देश का विकास होगा।


तदनुसार, सभी शेयरधारक इन इन्फ्रास्ट्रक्चर परियोजनाओं के लिए कुल3050 करोड़ रुपए के राइट्स इश्यू के जरिए इक्विटी प्रदान करेंगे। शेष वित्त, लागत बाजार से उधारी के माध्यम से जुटाई जाएगी।


कोंकण क्षेत्र के लोगों की उम्मीदों को पूरा करने के लिए, माननीय रेल मंत्री जी का कोंकण रेल्वे के रूपान्तरण की  दिशा मे एक महत्वपूर्ण कदम है जिससे  कोंकणा रेल्वे के विकास के साथ साथ यात्री सुविधाओ मे अपेक्षित सुधार होगा ।


यह उल्लेखनीय है कि माननीय रेल मंत्री श्री सुरेश प्रभु जी के कुशल मार्गदर्शन में कोंकण रेलवे को वित्तीय वर्ष 2015-16 के लिए कोंकण रेलवे और रेल मंत्रालय के बीच हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापन के निष्पादन के लिए "उत्कृष्ट" रेटिंग प्राप्त हुई है।


कोंकण रेलवे हमेशा अपने यात्रियों की आरामदायक यात्रा  के लिए, बेहतर यात्री सुविधा प्रदान करने में विश्वास रखती है।


माननीय रेल मंत्री जी की इन पहल के साथ कोंकण रेलवे बड़े पैमाने पर रूपांतर के लिए तैयार है तथा  इसे  टिकाऊ विकास की दिशा मे एक पहल के रूप में देखती है।                                                  

L K Verma
Chief Public Relations Officer